निर्जला एकादशी का व्रत करते समय इन नियमों का जरूर करें पालन
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धार्मिक मान्यता है कि निर्जला एकादशी व्रत करने से व्यक्ति को सभी एकादशियों के समतुल्य फल की प्राप्ति होती है। इस व्रत को करने से व्यक्ति को न केवल सभी पापों से मुक्ति मिलती है, बल्कि भगवान विष्णु की कृपा-दृष्टि से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं। अतः साधक श्रद्धा भाव से भगवान विष्णु की पूजा उपासना करते हैं। इस व्रत के कई कठोर नियम भी हैं। इन नियमों का पालन अनिवार्य है। इसके पश्चात ही व्रत सफल माना जाता है। अगर आप भी भगवान विष्णु का आशीर्वाद पाना चाहते हैं, तो व्रत करते समय इन नियमों का पालन जरूर करें। 

निर्जला एकादशी के दिन ब्रह्म मुहूर्त में उठें। इस दिन देर तक नहीं सोना चाहिए। इससे भगवान विष्णु अप्रसन्न होते हैं। अतः एकादशी को जल्दी उठें। स्नान-ध्यान कर भगवान विष्णु की पूजा उपासना करें। व्रती को दिन में भी भूलकर नहीं सोना चाहिए। ऐसा करने से व्रत का फल प्राप्त नहीं होता है।

शास्त्रों में काले रंग के कपड़े पहनकर शुभ एवं मांगलिक कार्य करने की मनाही है। अतः एकादशी के दिन काले रंग के कपड़े न पहनें। भगवान विष्णु की कृपा पाने के लिए एकादशी को पीले रंग के वस्त्र पहनें। पीले रंग का वस्त्र पहनकर भगवान विष्णु की पूजा करें।

एकादशी के दिन अपनी प्रशंसा और दूसरों की बुराई करने से परहेज करें। शास्त्र में ऐसा करने की मनाही है। इससे व्रत का पुण्य फल प्राप्त नहीं होता है। इस दिन अपना ध्यान भगवान विष्णु के कीर्तन-भजन में लगाएं।

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