मई में पाकिस्तान में महंगाई रिकॉर्ड स्तर पर,  श्रीलंका से भी ज्यादा हालात खराब
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इस्लामाबाद : पड़ोसी देश पाकिस्तान में महंगाई चरम पर है. मई महीने देश में महंगाई रिकॉर्ड स्तर पर पहुंच गई है. ऐसे में स्वाभाविक है कि लोगों की मुश्किलें बढ़ने वाली है. ताजा आंकड़ों के मुताबिक पाकिस्तान में मई में वार्षिक मुद्रास्फीति दर बढ़कर रिकॉर्ड 37.97 फीसदी पर पहुंच गई. पाकिस्तान मौजूदा समय में  एक बड़े आर्थिक और राजनीतिक संकटसे जूझ रहा है.

पाकिस्तान विदेशी कर्ज के बोझ, स्थानीय मुद्रा के कमजोर होने और विदेशी मुद्रा भंडार के कम होने जैसे संकट से घिरता जा रहा है. महंगाई और आर्थिक बदहाली के मामले में पाकिस्तान ने श्रीलंका को भी पीछे छोड़ दिया है. मई 2023 में पाकिस्तान में महंगाई की दर 38 फीसदी पर पहुंच गई, जो एशिया में सबसे ज्यादा है. श्रीलंका में महंगाई दर घटकर फिलहाल 25.2 फीसदी पर आ गई है.

गंभीर संकट के बाद भी पाकिस्तान आईएमएफ (IMF) की शर्तों को पूरा करने में अनिच्छा जाहिर कर रहा है. अगर आईएमएफ की फाइनेंस फंडिग का प्रोग्राम जून के अंत में खत्म हो जाता है, तो शाहबाज शरीफ सरकार के सामने पूरी तक डिफॉल्ट कर जाने का खतरा बहुत ज्यादा बढ़ सकता है. 


बता दें कि पिछली सदी में अमेरिका और अब चीन के समर्थन के कारण पाकिस्तान हमेशा अपनी औकात से ज्यादा उछलकूद करता रहा है. पाकिस्तान लगातार हर मामले में भारत के साथ अपनी तुलना करने की कोशिश करता है. लेकिन उसे हमेशा मुंह की खानी पड़ी है. भारत से किसी भी मामले में टकराने के बाद पाकिस्तान के हाथ सिर्फ निराशा ही लगी है. 

पीएम नरेंद्र मोदी की सरकार के तहत भारत में मुद्रास्फीति की दर 4.7 फीसदी है, जो अक्टूबर 2021 के बाद सबसे कम है, जबकि खाद्य मुद्रास्फीति सिर्फ 3.8 प्रतिशत है. मई में पाकिस्तान में खाद्य मुद्रास्फीति 48.7 प्रतिशत रही, जो अप्रैल में 48.1 प्रतिशत थी. पाकिस्तान में आर्थिक संकट के बीच पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान के साथ शरीफ सरकार का टकराव बढ़ता जा रहा है. 

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